भक्ति की महिमा
भक्ति की महिमा
भक्ति बीज पलटै नहीं, जो जुग जाय अनन्त |ऊँच नीच घर अवतरै, होय सन्त का सन्त ||
की हुई भक्ति के बीज निष्फल नहीं होते चाहे अनंतो युग बीत जाये | भक्तिमान जीव सन्त का सन्त ही रहता है!-->!-->!-->!-->!-->…
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