न्याायिक अधिकारी जज दीपक को गांव की महक खींच लाई गांव महचाना
न्याायिक अधिकारी जज दीपक को गांव की महक खींच लाई गांव महचाना
दीपक यादव जज बनने के बाद पहली बार अपने गाँव महचाना पहुंचे
जज दीपक बोले कामयाबी के पीछे अभिभावको, बुजुर्गो का आशिर्वाद
आने वाली पीढ़ी के बेहतर भविष्य के लिए लड़कियों को जरूर पढ़ाएं
फतह सिंह उजाला
पटौदी। गांव की यादें और मिट्टी की महक होतह ही ऐसी है कि व्यक्ति चाहे किसी भी क्षेत्र में तरक्की करते हुए उच्च पद पर पदासीन हो जाये, लेकिन गाव और बचपन की यादें, कभी न कभी अपने पास बुला ही लेती है। ऐसा ही पटौदी क्षेत्र के गांव महचाना के निवासी दीपकयादव के साथ भी हुआ।
बेशक गांव की मिट्टी में खेला, पढ़ा दीपक आज न्यायिक अधिकारी जज बन चुका है, लेकिन पैतृक गांव महचाना आने के लिए मचलते मन को गांव और ग्रामींणों के बीच पहुंचने पर ही सूकूल मिला। यहां गाँव पहुँचने पर जज दीपक यादव का गाँव महचाना की सरदारी ने फूल माला पहना कर स्वागत किया। अवसर था महचाना की मिट्टी से निकल जज बने दीपक यादव का गाँव में पहुँचने पर स्वागत कार्यक्रम के आयोजन का।
इस अवसर पर स्वयं जज दीपक यादव ने अपने संघर्षों व मेहनत के दिनों को प्रबुद्ध ग्रामीणों सहित युवाओं के बीच रखा। उन्होंने अपनी कामयाबी और उपलब्धि के पीछे बुजुर्गों का आशीर्वाद व सबकी दुवाओं का भी अहम योगदान होना बताया। उन्होंने बताया मेहनत तो बहुत से परीक्षार्थी करते है, परंतु सभी कामयाब नही होते। कामयाबी के पीछे परिवार की मेहनत व सभी की दुआएं, अभिभावको सहित बुजुर्गो का आशिर्वाद भी होता है। जज दीपक ययादव ने कहा बच्चों को पढ़ाई के प्रति मेहनत करते हुए अपने बड़ो के प्रति सम्मान की भावना व उनका ख्याल रखना चाहिए। उन्होंने लड़कियों की शिक्षा पर विशेष्स जसेर देते आहवान किया कि सुखी परिवार, सभ्य और मजबूत समाज सहित आने वाली पीढ़ी के उज्जवल भविष्य के लिए लड़कियों को यथासंभव उच्चतर शिक्षा दिलाएं।
गौर तलब है कि दीपक यादव सर्वप्रथम 2018 में तेलंगाना में सिविल जज के तौर पर चयनित हुए। दो वर्ष वहाँ अपनी सेवाएं देने के बाद उन्होंने हरियाणा न्यायिक सेवा की परीक्षा पास कर अपना स्थान पक्का कर लिया। वर्तमान में होडल में सेवारत जज दीपक यादव ने अपने व्यस्त समय से कुछ समय पैतृक गाँव महचाना के लिए निकाला। उन्होंने नई युवा पीढ़ी के लिए प्रेरणात्मक बातें -अनुुभव भी साझा किये। आने वाले समय में गाँव में मेलों, प्रतियोगिताओं इत्यादि का आयोजन करने का आव्हान भी ग्रामवासियों से किया। ताकि एक अच्छा समाजिक वातावरण गाँव में बना कर रखा जा सके। भविष्य में गाँव के सामाजिक कार्यक्रमों में भी समल्लित होने की भी इच्छा जताई। सम्मान समारोह के बाद जज दीपक यादव बाबा बनखण्डी मंदिर पहुंचे और यहां मंदिर में हाजिरी लगा बाबा से आशिर्वाद लिया। यहां मदिर परियर में कई एकड़ में लगे अनेक किस्म के पौधो-पेड़ों से प्रभावित होकर उन्होंने कहा कि पेड़-पौधे प्रकृति सहित इंसान के सच्चे मित्र प्राण वायु देने वाले होते हैं।
इस मौके पर गजराज सरपंच, राजेंद्र सिंह, उमेद प्रधान, अत्तर सिंह, रामेश्वर यादव, पूर्वबैंक अधिकारी विजयपाल चौहान, पटौदी बार एसोसिएशन के पुर्व च्रधान एडवोकेट तेजपाल चौहान, कंवरपाल इत्यादि ने जज दीपक यादव को पगड़ी पहना कर तथा स्मृति चिन्ह भेंट कर सम्मान किया। इसी मौके पर राहुल चौहान व रामसिंह ने स्मृति चिन्ह भेंट किया। जयकिशन, कप्तान इंद्रपाल, कृष्ण सिंह, रंजीत, नरेंद्र, सतप्रकाश, मनीष ऐडवोकेट, प्रदीप, नवीन, बरुन यादव, अशोक, कुलवंत, सुनील इत्यादि ने माला पहना कर जज दीपक यादव के गांव महचाना आगमन पर यादगार सम्मान किया।
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