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रहेजा मॉल का 82 लाख रुपये बिजली बल बकाया, कटा कनेक्शन, दुकानदारी ठप

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रहेजा मॉल का 82 लाख रुपये बिजली बल बकाया, कटा कनेक्शन, दुकानदारी ठप
-दुकानदारों ने रहेजा बिल्डर के खिलाफ किया प्रदर्शन
-दुकानदारों से पैसे लेकर भी रहेजा मॉल प्रबंधन ने नहीं भरा बिल

प्रधान संपादक योगेश

गुरुग्राम। यहां सोहना रोड पर बने रहेजा मॉल में रहेजा बिल्डर पर मनमानी करने का आरोप लगाते हुए दुकानदारों ने विरोध प्रदर्शन किया। रहेजा स्पेस ऑनर्स एसोसिएशन के बैनर तले प्रदर्शन करते हुए दुकानदारों ने कहा कि बिल्डर की ओर से यहां सुविधाएं कुछ दी नहीं जा रही और मैंटेनेंस के नाम पर लूट मचा रखी है।
दुकानदारों ने बताया कि बिल्डर की ओर से बिना कोई सुविधा दिए बहुत ज्यादा मैंटनेंस वसूला जा रहा है। 31 अक्टूबर से रहेजा मॉल का बिजली का कनेक्शन कटा हुआ है। बिल्डर ने दुकानदारों से तो पैसा वसूल लिया, लेकिन बिजली का बिल नहीं भरा। बिल्डर पर 82 लाख रुपये बिजली की का बिल बकाया है। अपनी सुविधा के लिए जनरेटर का उपयोग बिल्डर द्वारा किया जा रहा है। बिजली नहीं होने से दुकानों का काम प्रभावित हो रहा है।
दुकानदारों ने मैंटेनेंस चार्ज को लेकर भी आपत्ति जाहिर की है। दुकानदारों का कहना है कि जहां पर बिल्डर की निजी स्वार्थ है, वहां पर मैंटनेंस चार्ज मात्र 7 रुपये स्क्वेयर फिट है। जो लोग अपनी दुकानें चला रहे हैं, उनसे 33 रुपये स्क्वेयर फिट चार्ज वसूला जा रहा है। अलग-अलग लोगों से अलग-अलग चार्ज वसूलना भी बिल्डर की नीयत पर सवाल खड़े करता है। दुकानदारों ने यह भी बताया कि बिल्डर ने 2009 से लोगों की रजिस्ट्री की पेमेंट ले रखी है, लेकिन आज तक रजिस्ट्री नहीं कराई है। इतना अधिक मैंटेनेस चार्ज वसूलने के बाद भी मॉल के 80 प्रतिशत एसी काम नहीं कर रहे। सेंट्रल एसी होने के बावजूद रहेजा प्रबंधन ने अपने कार्यालय में अलग से एसी लगवा रखे हैं। मॉल में सिक्योरिटी के लिए मात्र चार गार्ड हैं।
दुकानदारों ने कहा कि सभी दुकान मालिक मॉल के बेहतर रखरखाव, व्यापार के लिए आरडब्ल्यूए का गठन करना चाहते हैं, लेकिन बिल्डर उसमें भी रोड़े अटका रहा है। प्रशासक को एनओसी नहीं दे रहा।
दुकानदारों बोले, हमें हो रहा है मोटा नुकसान
मॉल बनने के समय से ही दुकान के खरीददार मनदीप सिंह, जतिंद्र कौर ने कहा कि उन्होंने करीब 12 साल पहले 55 लाख रुपये में दुकान खरीदी थी। कब्जा मिलने से पहले से ही बिल्डर ने उनसे मैंटनेंस चार्ज वसूलना शुरू कर दिया था। अब तक वे करीब 12 लाख रुपये मैंटनेंस चार्ज ले चुके हैं। सुविधाएं कुछ नहीं मिलती। सुविधाएं न होने से यहां किराएदार भी नहीं आ रहे।
राहुल यादव ने बताया कि उनकी यहां पर तीन दुकानें हैं। बिल्डर द्वारा 22.80 रुपये के हिसाब से जीएसटी के साथ वसूला जाता है। आज तक जीएसटी का भी रिफंड नहीं दिया गया है। 22.80 रुपये में 12 रुपये स्क्वेयर फिट कॉमन एरिया में एसी का, 8 रुपये सिक्योरिटी, शौचालय आदि के नाम पर लिया जाता है। इसके बावजूद कोई सुविधा नहीं दी जा रही। पांच मंजिला मॉल में 177 दुकानें हैं।
जयपाल ने बताया कि यहां उनका चार नंबर सिनेमा, पार्किंग और कॉमन एरिया है। यहा सब बिल्डर को लीज पर दिया हुआ है। फरवरी 2020 से बिल्डर ने इनका किराया भी नहीं दिया है। तीसरा फ्लोर भी रेंट पर बिल्डर ने लिया हुआ है। उसका भी छह महीने से किराया नहीं दिया है। बिल्डर खुद तो पैसे ले लेता है, लेकिन भुगतान करते समय पैसा नहीं होने की बात कहता है। छह साल से अनिल अग्रवाल भी यहां दुकानदार हैं। वे भी बिल्डर की मनमानी से परेशान हैं। नीरज जैन ने कहा कि बिल्डर की मनमानी नहीं चलने दी जाएगी। मॉल में एसोसिएशन का गठन करके सभी अधिकार अपने हाथ में लिए जाएंगे, ताकि सारे काम समय पर और सही तरीके से किए जा सकें।

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