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2022 में साइबर ठगो के शिकार बने लोगों को पुलिस ने लौटाए दो करोड़

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2022 में साइबर ठगो के शिकार बने लोगों को पुलिस ने लौटाए दो करोड़

बैंकिंग क्षेत्र की सुरक्षा के मुद्दे पर जिला स्तरीय सुरक्षा समिति की बैठक

बैंक अपने एटीएम पर गार्ड सहित अन्य सुरक्षा उपकरणों के पुख्ता प्रबंध करें

इस खास बैठक में पुलिस सहित विभिन्न बैंको के अधिकारी भी रहे मौजूद

फतह सिंह उजाला
गुरुग्राम। 
जिला में सेवारत बैंकों की सुरक्षा व उनसे जुड़े ग्राहकों के हितों को ध्यान में रखते हुए जिला उद्यान विभाग के प्रशिक्षण सभागार में जिला स्तरीय सुरक्षा समिति की बैठक का आयोजन किया गया। गुरुग्राम जिला के एसीपी क्राइम प्रीतपाल सांगवान  की अध्यक्षता में आयोजित इस बैठक में साइबर क्राइम के एसएचओ बिजेंद्र कुमार सहित केनरा बैंक की रिजनल हैड आराधना त्रिवेदी, आरबीआई चंडीगढ़ के एजीएम विक्रम ढांडा, नाबार्ड से क्लस्टर हेड विनय कुमार त्रिपाठी व अग्रणी जिला प्रबंधक प्रहलाद रॉय गोदारा प्रमुख रूप से उपस्थित थे।

बैठक में सभी बैंकर्स को एसीपी क्राइम प्रीतपाल सांगवान ने कहा कि वर्तमान में जिला में बिना सुरक्षाकर्मी वाले एटीएम सुरक्षा की दृष्टि से एक गंभीर मुद्दा है। उन्होंने कहा कि पुलिस प्रशासन ने जिला में स्थित विभिन्न बैंकों के सुरक्षा प्रबंधों का जायजा लिया तो अधिकांश एटीएम में सुरक्षाकर्मी तैनात नहीं थे। वहीं कई स्थानों पर सुरक्षा उपकरणों की गुणवत्ता में भी खामियां पाई गई हैं। श्री प्रीतपाल ने कहा कि उपरोक्त दोनों परिस्थितियों में बैंक को आर्थिक नुकसान उठाने के साथ ही  ग्राहकों के बीच बैंक की छवि भी प्रभावित होती है। ऐसे में सभी बैंक प्रबंधन अपने-अपने एटीएम की सुरक्षा प्रबंधों को और अधिक पुख्ता करते हुए सभी एटीएम पर सुरक्षाकर्मी की तैनाती के साथ ही सुरक्षा उपकरणों की गुणवत्ता में सुधार करें। एसीपी प्रीतपाल ने ऑनलाइन धोखाधड़ी के मामलों का जिक्र करते हुए कहा कि वैसे तो सभी बैंकों का रवैया सहयोगात्मक रहा है, लेकिन कई बार उपरोक्त मामलों की छानबीन के दौरान बैंक प्रबंधन की तरफ से वारदात के साक्ष्य उपलब्ध करवाने में ढिलाई बरती जाती है। इससे ना केवल जांच प्रक्रिया प्रभावित होती है बल्कि अपराधी की धरपकड़ में भी मुश्किलें आती हैं। ऐसे में सभी बैंक प्रबंधन यह सुनिश्चित करें कि जब पुलिस की तरफ से कोई साक्ष्य मांगे जायें तो वे इस पर त्वरित कार्रवाई करते हुए पुलिस को उपलब्ध करवाएं।

ग्राहकों को डिजिटल लेनदेन को जागरूक करें
एसीपी प्रीतपाल ने बताया कि पुलिस विभाग ने ऑनलाइन धोखाधड़ी के मामलों में तत्काल कार्रवाई करते हुए वर्ष 2022 में  बैंक के ग्राहकों की करीब दो करोड़ रुपए की धनराशि वापिस लाने में सफलता प्राप्त की है। उन्होंने कहा कि इस पूरी प्रक्रिया में सम्बंधित बैंक प्रबंधन का भी सहयोग मिला है। उन्होंने सभी बैंकर्स से आह्वान करते हुए कहा कि वे अपने ग्राहकों को डिजिटल लेनदेन के लिए जागरूक करने के साथ साथ साइबर सुरक्षा नियमों  के बारे में भी जागरूक करें। उन्होंने कहा कि यदि किसी व्यक्ति के साथ ऑनलाइन धोखाधड़ी की घटना होती है तो वे तत्काल इसकी सूचना साइबर क्राइम सेल को दे ताकि इस मामले में  त्वरित कार्रवाई करते हुए आपके खाते से निकाली गई रकम की वापसी के लिए आगे की प्रक्रिया अमल में लाई जा सके। इस दौरान उन्होंने बैंकर्स से यह भी अपील की कि वे उनके यहां संदिग्ध खातों में होने वाले लेनदेन पर नजर बनाये रखने के साथ साथ ऐसे खातों की जल्द से जल्द केवाईसी करवाएं व पुलिस को भी इसकी सूचना अवश्य दें।

बैंक व एटीएम के सीसीटीवी कैमरे मद्दगार
बैठक में अग्रणी जिला प्रबंधक प्रहलाद रॉय गोदारा ने बैंकर्स से कहा कि सभी बैंक यह सुनिश्चित करें कि उनके यहां बैंक व एटीएम में लगे सुरक्षा उपकरण गुणवत्तापरक व 24 घण्टे कार्य करने की अवस्था में हो। इसके साथ ही बैंक परिसर व एटीएम के बाहर लगे सीसीटीवी कैमरे लोकल क्राइम में भी पुलिस के लिए काफी मददगार साबित होते हैं इसलिये सभी बैंक पुलिस द्वारा मांगी जानकारी अथवा साक्ष्य जल्द से जल्द उपलब्ध करवाए। श्री गोदारा ने कहा कि  सुरक्षा व्यवस्था सुदृढ़ रहने से घटना घटित होने की स्थिति में दोषी को पकड़ने एवं लूट की राशि बरामद करने में मदद मिलती है।

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