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कॉमवीवा ने गुरुग्राम में 28 सीटर कंप्यूटर लैब और 30 सीटर ट्रेनिंग रूम स्थापित किया

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कॉमवीवा ने गुरुग्राम में 28 सीटर कंप्यूटर लैब और 30 सीटर ट्रेनिंग रूम स्थापित किया

कॉमवीवा ने गर्ल्स आईटी कौशल के लिए प्रशासन-एमईपीएससी के साथ हाथ मिलाया

गवर्नमेंट गर्ल्स कॉलेज कैंपस में गर्ल्स आईटी कौशल के लिए एम ओ यू हस्ताक्षर

390 घंटों की अवधि वाले इस प्रोग्राम के तहत छात्राओं को अकादमिक पढ़ाई 

रोजगार लायक बनाने के लिए आवश्यक कौशल और ज्ञान उपलब्ध कराया जाएगा

फतह सिंह उजाला 

गुरुग्राम । गुरुग्राम जिला प्रशासन, मैनेजमेंट एंड आंत्रप्रिन्योरशिप एंड प्रोफेशनल स्किल्स काउंसिल (एमईपीएससी), कॉमवीवा और संशिल फाउंडेशन फॉर वेलफेयर ने गुरुग्राम के सेक्टर 14 स्थित गवर्नमेंट गर्ल्स कॉलेज के कैंपस में आईटी कौशल विकास सहित प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए छात्राओं में शिक्षा और कौशल विकास को बढ़ावा देने के लिए सहमति ज्ञापन पर हस्ताक्षर किया है। इस पहल के तहत, एमईपीएससी 50 प्रशिक्षुओं के लिए ऑफिस ऑपरेशंस एक्जीक्यूटिव ट्रेड में एक प्रारंभिक प्रोग्राम की शुरुआत के साथ चरणबद्ध तरीके से कौशल विकास पाठ्यक्रम लागू करेगी। कुल 390 घंटों की अवधि वाले इस प्रोग्राम के तहत छात्राओं को अकादमिक पढ़ाई के साथ साथ उन्हें रोजगार लायक बनाने के लिए आवश्यक कौशल और ज्ञान उपलब्ध कराया जाएगा। 

अपनी कॉरपोरेट सोशल रिस्पांसिबिलिटी (सीएसआर) प्रतिबद्धता के तहत कॉमवीवा ने इस पहल के लिए वित्तीय सहायता का हाथ बढ़ाया है और सेक्टर 14 स्थित गवर्नमेंट गर्ल्स कॉलेज के कैंपस में एक 20 सीटर कंप्यूटर लैब के साथ ही 30 सीटर ट्रेनिंग रूम स्थापित किया है। वहीं संशिल फाउंडेशन, सीएसआर क्रियान्वयन साझीदार के तौर पर कार्य करते हुए सीएसआर कोष का उपयोग करेगा और एमईपीएससी के साथ समन्वय स्थापित करेगा ताकि इस प्रोग्राम का निर्बाध क्रियान्वयन सुनिश्चित हो सके। इसके अलावा, संशिल गुरुग्राम के सर्मथला गांव में एक लाइब्रेरी सह अध्ययन केंद्र स्थापित करेगा जिससे उस क्षेत्र में शिक्षा को कौशल विकास को बढ़ावा मिल सके। एमईपीएससी मंजूर पाठ्यक्रम के मुताबिक कंटेंट का प्रशिक्षण देगी और इस प्रोग्राम के दौरान और समापन पर आकलन की सुविधा देगी। निर्धारित मानकों को सफलतापूर्वक पूरा करने वाली प्रशिक्षुओं को प्रमाण पत्र जारी किए जाएंगे। 

आजीविका के अवसरों के नए द्वार भी खुलेंगे

इस अवसर पर, गुरुग्राम के डिप्टी कमिश्नर अजय कुमार ने कहा, “यह गठबंधन लड़कियों को रोजगार लायक कौशल से सशक्त करने की हमारी मजबूत प्रतिबद्धता को परिलक्षित करता है। इनके अकादमिक अध्ययन के साथ ही प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए सही प्रशिक्षण देकर हमारा लक्ष्य वृद्धि और आजीविका के अवसरों के नए द्वार खोलना है।” 

कॉमवीवा के मुख्य वित्तीय अधिकारी रामौतार गोयल ने कहा, “कॉमवीवा में हम शिक्षा और कौशल विकास को एक सामाजिक जिम्मेदारी के तौर पर ही नहीं, बल्कि इस देश के लिए एक अधिक मजबूत और भविष्य के लिए तैयार कार्यबल का निर्माण करने में एक रणनीतिक निवेश के तौर पर भी देखते हैं। हमारे एनजीओ साझीदार संशिल फाउंडेशन की मदद से इस पहल का सहयोग कर हमारा लक्ष्य हरियाणा में इन लड़कियों को रोजगार लायक कौशल से सशक्त करते हुए इस समुदाय और अर्थव्यवस्था के लिए समावेशी और टिकाऊ वृद्धि के व्यापक विजन में योगदान करना है।” 

रोजगार को बढ़ावा देने का एक माहौल तैयार होगा

इस पहल के बारे में सीएसआर ट्रस्ट हरियाणा के अपर मुख्य कार्यकारी अधिकारी गौरव सिंह ने कहा, “यह पहल इस क्षेत्र में छात्राओं के लिए कौशल का अंतर पाटने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। उनके अकादमिक अध्ययन के साथ ही उन्हें आईटी कौशल से युक्त कर हम ना केवल उन्हें रोजगारपरक क्षमता बढ़ा रहे हैं, बल्कि करियर के विविध अवसरों के लिए प्रतिस्पर्धा करने में उन्हें सशक्त भी कर रहे हैं। कॉमवीवा जैसे कॉरपोरेट्स, अकादमिक संस्थानों और सरकार के मध्य इस तरह की साझीदारियां समावेशी वृद्धि और दीर्घकालीन सामाजिक आर्थिक परिवर्तन के लिए एक मजबूत आधार तैयार करती हैं।” इस रणनीतिक गठबंधन से इस क्षेत्र में टिकाऊ कौशल विकास पहल का मार्ग प्रशस्त होने और सीखने, सशक्त बनने और रोजगार को बढ़ावा देने का एक माहौल तैयार होने की संभावना है। 

 7 लाख से अधिक लाभार्थियों को प्रशिक्षण 

मैनेजमेंट एंड आंत्रप्रिन्योरशिप एंड प्रोफेशनल स्किल्स काउंसिल (एमईपीएससी) के बारे में

मैनेजमेंट एंड आंत्रप्रिन्योरशिप एंड प्रोफेशनल स्किल्स काउंसिल (एमईपीएससी) एक होरिजोंटल सेक्टर स्किल काउंसिल (एसएससी) है जिसकी स्थापना कंपनीज़ एक्ट, 2013 की धारा-8 (गैर लाभकारी कंपनी) के तौर पर की गई। यह कौशल विकास एवं उद्यमशीलता मंत्रालय के संरक्षण में अपनी तरह का अनूठा सार्वजनिक-निजी साझीदारी (पीपीपी) मॉडल है। ऑल इंडिया मैनेजमेंट एसोसिएशन (एआईएमए), एमईपीएससी का एकल प्रवर्तक है। एमईपीएससी, कौशल नियामक- नेशनल काउंसिल फॉर वोकेशनल एजुकेशन एंड ट्रेनिंग (एनसीवीईटी) द्वारा मान्यता प्राप्त एक अवार्डिंग बॉडी है और इसे राष्ट्रीय कौशल विकास निगम (एनएसडीसी) से सहयोग मिलता है। पिछले 8 वर्षों की अपनी यात्रा में एमईपीएससी ने कौशल विकास पारितंत्र को मजबूती प्रदान करने के उद्देश्य से गुणवत्तापूर्ण पेशेवरों का निर्माण करने के लिए अपने विभिन्न कार्यक्रमों के जरिए 7 लाख से अधिक लाभार्थियों को प्रशिक्षण देकर प्रमाणित किया है और 5,000 से अधिक प्रशिक्षकों, 850 से अधिक मास्टर्स और 1750 से अधिक आकलनकर्ताओं को प्रमाणित किया है। एमईपीएससी वर्तमान में पूरे देश में 1,850 से अधिक स्कूलों, 18 विश्वविद्यालयों और 40 से अधिक कॉलेजों से जुड़ा है। 

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