बेसहारा महिलाओं के स्वावलंबन में हरियाणा सरकार मददगार: सीडीपीओ
महिलाएं खुद को न समझे बेसहारा, सरकार बनेगी सहारा
विधवा महिलाओं को 2250 रुपये प्रति माह की पेंशन
फतह सिंह उजाला
पटौदी। हरियाणा में विधवा एवं बेसहारा महिलाओं को स्वावलंबी बनाने में हरियाणा सरकार बड़ी मददगार साबित हो रही हैं। इसके लिए महिला एवं बाल विकास मंत्रालय द्वारा काफी योजनाएं चलाई गई है। जिसको लेकर कार्यालय प्रांगण मे एक दिवसीय जागरूकता शिविर लगाया गया है। उक्त जानकारी देते हुए बाल विकास परियोजना अधिकारी फरुखनगर श्रीमति नूपुर ने बताया कि शिविर लगाकर विधवा एवं बेसहारा महिलाओं के साथ ही दिव्यांग बच्चों को सरकार द्वारा बनाई गई योजनाओं के बारे में भी विस्तार से बताया गया है।
शिविर में सीडीपीओ नूपुर ने महिलाओं से अपील करते हुए कहा कि वे खुद को बेसहारा न समझें। सरकार ने उनके कल्याण के लिए कई योजनाएं बनाई हैं। उनका लाभ उठाकर वे जीवनयापन ठीक से कर सकती हैं। उन्होंने कोरोना से बचाव के उपाय भी समझाते हुए कहा कि कोरोना के घटते मामलों के बीच वे लापरवाह न हों। बचाव के सभी उपाय जारी रखें। जिला समाज कल्याण विभाग से उपस्थित हरिओम ने बताया की सरकार न केवल विधवा महिलाओं को 2250 रुपये प्रति माह की पेंशन देती है अपितु उसके दो बच्चों को 18 वर्ष के होने तक 1350 रुपये प्रति माह का भत्ता भी देती है। उन्होंने पेंशन बनाने की प्रक्रिया भी बताई। वन स्टाप सेंटर की प्रशासक पिंकी ने बताया कि घरेलू हिसा अथवा किसी अन्य कारण से पीड़ित महिलाओं को उनका केंद्र कुछ दिन के लिए आश्रय भी देता है। उन्हें कानूनी सहायता भी उपलब्ध करवाता है। जिला बाल कल्याण विभाग से उपस्थित मुकेश कुमारी ने पाक्सो एक्ट व बच्चों के साथ होने वाले अपराधों के बारे में जानकारी दी। उन्होंने कहा कि किसी बच्चे के साथ अपराध हो तो बाल विकास परियोजना कार्यालय मे सूचित करे। प्रशासन सख्त कार्रवाई करेगा। इस अवसर पर सुपरवाइजर सुषमा, रेखा, कृष्णा व लक्ष्मी के अलावा लिपिक सतबीर भी मुख्य रूप से उपस्थित रहे।
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