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800 वर्षों से भगत पूर्णमल मंदिर है आस्था का केंद्र: सुधीर सिंगला

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800 वर्षों से भगत पूर्णमल मंदिर है आस्था का केंद्र: सुधीर सिंगला
-कासन गांव में ऐतिहासिक मंदिर में विधायक ने मत्था टेका
-भगत पूर्णमल मंदिर में लगा एक दिवसीय अद्र्धवार्षिक मेला
प्रधान संपादक योगेश

गुरुग्राम। कासन गांव के भगत पूर्णमल मंदिर में अद्र्धवार्षिक एक दिवसीय मेला लगा। शुक्रवार को गुरुग्राम के विधायक श्री सुधीर सिंगला ने भगत पूर्णमल मंदिर में मत्था टेककर आशीर्वाद लिया। साथ ही प्रसाद ग्रहण किया। इस दौरान उनका गांव के सरपंच सत्यदेव शर्मा व अन्य मौजिज लोगों ने स्वागत किया।  
इस मौके पर समाजसेवी रामकिशन गुप्ता, रामअवतार गर्ग बिट्टू, अमित गोयल, योगिता धीर, नरेश बंसल, आदि मौजूद रहे। यहां लगने वाले वाषिक मेले में लाखों श्रद्धालु दूर-दराज के क्षेत्रों से आते हैं। मंदिर के इतिहास पर चर्चा करते हुए विधायक श्री सुधीर ङ्क्षसगला ने बताया कि मंदिर की भव्यता सैंकड़ों वर्षों के बाद आज भी ज्यों की त्यों है। श्रद्धालुओं की तादाद भी यहां हर साल बढ़ती है। उन्होंने कहा कि इस मंदिर का इतिहास 12वीं सदी से जुड़ा है। इतिहास में अंकित है कि बाबा चौरंगीनाथ नौवीं सदी के दौरान इस इलाके में रहा करते थे। उनके बारे में कई चामत्कारिक घटनाएं यहां की लोककथाओं में शामिल हैं।
गांव के सरपंच सत्यदेव शर्मा के मुताबिक इस मेले में आसपास के गांवों से हजारों की तादाद में लोग जमा होते हैं। दूर-दूर के गांवों से आने वाले लोगों की संख्या भी बहुत है। कुछ मेले का आनंद लेने आते हैं तो कुछ मंदिर में आध्यात्मिकता और सुकून का अहसास करते हैं। पहाड़ी की मुश्किल चढ़ाई चढ़कर यहां भक्त पहुंचते हैं। मंदिर में जिनकी गहरी आस्था है, वे यहां जरूर पहुंचते हैं। मेले के दौरान यहां 24 घंटे भंडारा चलता है। यहां मन्नत मांगने वालों की हर मुराद पूरी होती है। श्रद्धा स्वरूप श्रद्धालु यहां मंदिर के अंदर लाल धागा बांधते हैं। फिर एक सफेद कपड़ा टांगते हैं। यहां के पानी और हवा में भी बहुत कुछ मिलता है। यहां त्वचा संबंधी कई बीमारियां भी ठीक होती हैं।

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