पूर्व मंत्री सुखबीर कटारिया के गढ़ में पार्षद के लिए बाली पंडित की दावेदारी
पूर्व मंत्री सुखबीर कटारिया के गढ़ में पार्षद के लिए बाली पंडित की दावेदारी
-वार्ड-19 गुडग़ांव गांव से पार्षद के लिए भाजपा नेता बाली पंडित ने की तैयारी
-भाजपा रिटायर प्रकोष्ठ की प्रदेश कार्यकारिणी सदस्य हैं बाली पंडित
Reporter Madhu Khatri
गुरुग्राम। गुरुग्राम नगर निगम के चुनाव में वार्ड-19 गुडग़ांव गांव से भारतीय जनता पार्टी की टिकट पर चुनाव लडऩे की दावेदारी करते हुए बाली पंडित ने हुंकार भर दी है। भाजपा रिटायर्ड प्रकोष्ठ प्रदेश कार्यकारिणी सदस्य के रूप में वे भाजपा कर्मचारी प्रकोष्ठ के प्रदेश अध्यक्ष विद्यानंद लांबा के मार्गदर्शन व पर्यावरण संरक्षण विभाग भाजपा हरियाणा प्रमुख नवीन गोयल के साथ मिलकर पार्टी के लिए काम कर रहे हैं।
वार्ड-19 गुडग़ांव गांव पूर्व मंत्री सुखबीर कटारिया का गढ़ माना जाता है। वहां से दावेदारी ठोंककर बाली पंडित ने राजनीति गलियारों में नई चर्चाओं को जन्म दे दिया है। कम और तुला हुआ बोलने वाले बाली पंडित की इस दावेदारी से सुखबीर कटारिया गुट में भी इस बात की चर्चाओं ने जोर पकड़ लिया है कि अगर वे चुनाव मैदान में उतरे तो फिर टक्कर कांटे की होगी।
बाली पंडित कई वर्षों से बिना किसी व्यक्तिगत स्वार्थ के राजनीतिक दलों के लिए काम करते आ रहे हैं। भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष रहे अमित शाह की मौजूदगी में बाली पंडित ने भाजपा ज्वाइन की थी। अमित शाह ने भी उनकी मेहनत के लिए गुरुग्राम में आयोजित एक कार्यक्रम में ही उनकी पीठ थपथपाई थी। इस बार के नगर निगम के चुनाव में पार्षद उम्मीदवार के रूप में उन्होंने तैयारी की है। उनका कहना है कि जमीन से जुड़े और पार्टी के लिए निष्ठा से काम करने वाले कार्यकर्ताओं का भाजपा सदा सम्मान करती है।
भाजपा में अभी नगर निगम चुनाव के लिए टिकटों को लेकर अंदरखाने मंथन जारी है। नेताओं द्वारा टिकट के लिए आवेदन किए जा रहे हैं। भाजपा के लिए नगर निगम चुनाव जीतना जरूरी है, इसलिए पार्टी ने हर मोर्च पर विपक्षी नेताओं की किलेबंदी करनी शुरू कर दी है। कभी मंथन तो कभी बूथों पर मजबूती के लिए भाजपा लगातार सक्रिय है। छोटे से छोटे कार्यकर्ता को चुनाव जीतने का मंत्र भाजपा के अनुभवी नेताओं द्वारा दिया जा रहा है। खुद प्रदेश अध्यक्ष ओमप्रकाश धनखड़ समय-समय पर पदाधिकारियों की बैठकें ले रहे हैं। उनका मानना है कि भाजपा की चुनाव की तैयारी कभी खत्म नहीं होती। एक चुनाव जीतते ही पार्टी अगले चुनाव की तैयारी में जुट जाती है। यही भाजपा की लगातार हो रही जीत का मंत्र है कि हमें हमेशा सक्रिय रहना चाहिए।
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