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भाजपा जिला अध्यक्ष के 30 मिनट और हार का आंकड़ा 3000 से अधिक !

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भाजपा जिला अध्यक्ष के 30 मिनट और हार का आंकड़ा 3000 से अधिक !

वार्ड नंबर 10 में नीलम के प्रचार को पहुंची थी भाजपा की जिला अध्यक्ष

इसी वार्ड से बादशाहपुर के बेगराज यादव को बनाया गया चुनाव प्रभारी

भाजपा संगठन के बड़े नेता मनीष गाडौली व अन्य विशेष रूप से पहुंचे

आजाद उम्मीदवार संजू ठाकरान ने नीलम को 3752 वोटों से दी शिकस्त

पूर्व जिला पार्षद भूपेंद्र यादव की पत्नी नीलम यहीं से भाजपा उम्मीदवार

फतह सिंह उजाला
गुरुग्राम । 
  जिला परिषद चुनाव परिणाम सामने आने के बाद जिस प्रकार से भाजपा का कमल उम्मीद के मुताबिक नहीं खेल सका ? उन हालात को देखते हुए जिस वार्ड में भाजपा की जिला अध्यक्ष से लेकर वार्डो में बनाए गए चुनाव प्रभारी पहुंचे, उनमें से अधिकांश वार्ड में भाजपा उम्मीदवारों को अपने प्रतिद्वंदी उम्मीदवारों से कड़ी टक्कर मिलने के कारण भाजपा के खेमे में जबरदस्त निराशा पसरी हुई ही अधिक दिखाई दे रही है।

ऐसा ही एक और महिला आरक्षित वार्ड 10 नंबर भी शामिल है , यहां से भाजपा के हीं निष्ठावान और समर्पित कार्यकर्ता रहे पूर्व जिला पार्षद भूपेंद्र पड़ासोली की पत्नी नीलम यादव को भाजपा सिंबल पर चुनाव लड़ने का फैसला किया गया।  इस प्रकार के फैसले कब कैसे और क्यों हो गए ? अब यह किसी प्रकार से चिंतन और मंथन का विषय बचा ही नहीं है । सीधा सवाल यही है कि वार्ड नंबर 10 महिला आरक्षित इसी वार्ड में स्वयं भाजपा की जिला अध्यक्ष श्रीमती गार्गी कक्कड़ भाजपा उम्मीदवार नीलम यादव की जीत सुनिश्चित करने के लिए अवश्य पहुंची । खास बात यह भी है कि वार्ड नंबर 10 से चुनाव प्रभारी बादशाहपुर से संबंधित बेगराज यादव को बनाकर इस वार्ड में जिम्मेदारी सौंपी गई । नीलम यादव के चुनाव प्रचार के लिए भाजपा के कद्दावर नेता और पदाधिकारी मनीष गाडौली सहित स्थानीय भाजपा नेताओं का भी अल्प समय के लिए जमघट देखा गया ।

वार्ड नंबर 10 में नामांकन भरने से लेकर मतदान होने तक , इस समय और दिनों पर गौर किया जाए तो सबसे खास बात यह सामने निकल कर आई है कि भाजपा जिला अध्यक्ष गार्गी कक्कड़ वार्ड नंबर 10 में भाजपा उम्मीदवार नीलम यादव के चुनाव प्रचार सहित जीत सुनिश्चित करने के लिए केवल मात्र 30 मिनट के लिए ही पहुंच सकी। चुनाव परिणाम के बाद हार जीत का जो अंतर सामने आया , वह भाजपा या फिर भाजपा उम्मीदवार के खाते में 3000 से अधिक का रहा है । वार्ड नंबर 10 में मुख्य मुकाबला शराब व्यवसाई रहे गांव खोड  के निवासी परमजीत ठाकरान की पत्नी श्रीमती संजू ठाकरान और इसी गांव से ही रहने वाले पूर्व सरपंच सचिन ठाकरान की पत्नी सुशीला देवी के बीच तिकोने मुकाबले के रूप में आका गया । गौरतलब है कि बीते फरवरी माह में परमजीत ठाकरान और उसके भाई की कथित गैंगवार के चलते बेरहमी के साथ हत्या कर दी गई थी । इतना सब होने के बावजूद भी परमजीत ठाकरान परिवार के सदस्यों की सहमति के उपरांत परमजीत ठाकरान की पत्नी संजू ठाकरान ने जिला परिषद चुनाव लड़ने का फैसला परिजनों की रजामंदी के बाद प्राप्त कर लिया ।

कुल मिलाकर वार्ड नंबर 10 के चुनाव प्रचार से लेकर चुनाव परिणाम तक गौर किया जाए तो यहां से भाजपा के उम्मीदवार के बेहद नजदीकी और पारिवारिक सदस्यों के मुताबिक चुनाव प्रचार के लिए पटौदी के एमएलए एडवोकेट जरावता आदमपुर चुनाव में व्यस्त रहने की वजह से केवल मात्र दो बार ही कुछ समय के लिए ही पहुंचने में कामयाब हो सके । इसके अलावा जो कुछ भी चुनाव प्रचार किया गया या चुनाव जीतने की कसरत हुई , वह स्वयं पूर्व जिला पार्षद भूपेंद्र पड़ासोली के द्वारा स्वयं या फिर अपने समर्थकों और कार्यकर्ताओं के दम पर ही की गई । वार्ड नंबर 10 से भारतीय जनता पार्टी के उम्मीदवार नीलम यादव को 19175 वोट में से 4590 वोट ही प्राप्त हो सके हैं । नीलम यादव की मुकाबिल बनी पूर्व जिला पार्षद रहे परमजीत ठाकरान की पत्नी संजू ठाकरान ने वार्ड नंबर 10 से 8342 वोट प्राप्त कर अपनी प्रतिद्वंदी नीलम यादव को संभवत सबसे अधिक 3752 वोटों से पराजित कर जीत अपने नाम दर्ज की है । गांव खोड़ के ही रहने वाले पूर्व सरपंच सचिन ठाकरान, जिनको जननायक जनता पार्टी का समर्थन प्राप्त रहा , उनकी उम्मीदवार पत्नी सुशीला देवी को इस वार्ड से 3744 वोट प्राप्त हुए हैं । इसके अतिरिक्त  सुनीता देवी वार्ड नंबर 10 से 2107 वोट प्राप्त करने में सफल रही हैं । वोटों के आंकड़े पर गौर किया जाए तो सबसे कम वोट प्रेमलता को केवल मात्र 264 वोटों से ही संतोष करना पड़ा है।
खास बात यह रही है कि वार्ड नंबर 10 से मतदान के दौरान 128 मतदाताओं के द्वारा नोटा का इस्तेमाल किया गया है ।

इस प्रकार वार्ड नंबर 10 में भाजपा के उम्मीदवार नीलम यादव पत्नी पूर्व जिला पार्षद भूपेंद्र पड़ासोली की जीत को सुनिश्चित करने सहित चुनाव प्रचार के लिए भाजपा संगठन- नेता कितने अधिक गंभीर रहे होंगे ? इस बात का सहज ही अंदाजा लगाया जा सकता है । जब यहां भाजपा उम्मीदवार के प्रचार के लिए स्वयं भाजपा जिला अध्यक्ष गार्गी कक्कड़ सहित अन्य बड़े चेहरे पहुंचे हो और ऐसे में इसी वार्ड से भारतीय जनता पार्टी सहित पार्टी सिंबल पर चुनाव लड़ने वाले उम्मीदवार नीलम यादव जिनके पति पुराने निष्ठावान समर्पित भाजपा कार्यकर्ता रहे और हैं भी, उनके पाले से विजय श्री का दूर रहना निश्चित ही भाजपा जिला इकाई भाजपा टिकट वितरण कमेटी और पार्टी के संगठन से जुड़े अन्य बड़े प्रमुख चेहरे और नेताओं के लिए भविष्य की राजनीति के लिए चिंतन और मंथन का सवाल बनता हुआ दिखाई दे रहा है। बहरहाल चुनाव परिणाम घोषित हो चुके हैं , मतदाताओं के द्वारा अपना फैसला दिया जा चुका है । अब जो कुछ भी भविष्य की राजनीति को लेकर रणनीति सहित चिंतन और मंथन करना है , वह केवल भाजपा और भाजपा नेताओं के यही बचा हुआ है । लाख टके का सवाल है जिस प्रकार से जिला परिषद चुनाव में भाजपा सिंबल पर चुनाव लड़ी और परिणाम सामने आए ? क्या उससे भाजपा भविष्य में उम्मीदवारों के चयन सहित टिकट वितरण में मौजूदा समय के मुताबिक ही आनन-फानन में फैसला करेगी। या फिर मौजूदा चुनाव परिणाम से कोई सबक भी सीखने का प्रयास किया जाएगा।

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